चक्रवात तूफान तौकते से निपटने के लिए अधिकारियों को किया पाबंद

  • अधिकारियों केा साजो-सामान पूर्व में तैयार रखने के दिए निर्देश
  • होम आइसोलेशन में रह रहे व्यक्तियों को किया सावचेत, घर पर ही रहें
  • गंगापुर सिटी। होम आइसोलेशन उल्लंघन के मामलो को लेंकर एसडीएम अनिल चौधरी ने होम आइसोलेशन प्रभारी, ग्राम स्तरीय कोर कमेटी, थानाधिकारी एवं शहरी क्षेत्र में कार्यशील विशेष कोरोना दल को निर्देशित करते हुए कहा कि कोरोना संक्रमित एवं कोरोना संदिग्ध व्यक्तियों के होम आइसोलेशन की कडाई से पालना कराया जाना सुनिश्चित करें। इसमें किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
    एसडीएम चौधरी ने होम आइसोलेट व्यक्तियों से भी आग्रह किया है कि निर्धारित अवधि तक होम आइसोलेशन में ही रहें क्योंकि उनकी मोबाइल लोकेशन के आधार पर निगरानी रखी जा रहीं है, जिसका उल्लंघन करते पाये जाने पर उन्हें संस्थागत क्वारंटाइन किया जा सकता है और बार-बार पुनरावृति किए जाने पर एफआईआर दर्ज कराकर दण्डात्मक कार्यवाही भी की जा सकती है।
    उन्होने बताया कि उपखंड में प्रतिदिन लगभग 100 से अधिक व्यक्तियों द्वारा होम आइसोलेशन उल्लंघन के मामले सामने आ रहे हंै, जो चिन्ता का विषय है क्योंकि इससे कोरोना के प्रसार की संभावना अधिक रहती है। अत: ऐसे व्यक्तियों को चिह्नित कर उन्हें चेतावनी दी गई है एवं पुनरावृति पर होने वाली दण्डात्मक कार्यवाही से अवगत कराया है।
    उन्होंने क्षेत्र में नियुक्त बीएलओ, एएनएम, आंगनबाडी कार्यकर्ता, बीट कॉन्सटेबल, पटवारी, ग्राम विकास अधिकारी को निर्देशित करते हुए कहा कि क्षेत्र में कडी निगरानी की जाए और होम आइसोलेशन के लिए लोगों को पाबन्द किया जाए। उल्लंघन करने पर की जाने वाली कार्यवाही से लोगों को अवगत कराएं। उन्होंने बताया कि होम आइसोलेशन उल्लंघन के मामलो में सवाई माधोपुर जिला 16वें स्थान पर है। यहां पर 16 मई को 1570 होम आइसोलेशन उल्लंघन के मामले सामने आए हैं, जिस पर जिला कलेक्टर ने नाराजगी प्रकट करते हुए ऐसे मामलो में शीघ्र कडी कार्यवाही के निर्देश प्रदान किए हैं।
    एसडीएम अनिल चौधरी ने मौसम विभाग द्वारा तौकते तूफान के सम्बन्ध में दी गई चेतावनी के लिए उपखण्ड में व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के लिए सभी अधिकारियों को मुख्यालय पर रहने तथा आवश्यक साजो सामान पूर्व में ही तैयार रखने के लिए निर्देशित किया है। उन्होंने आदेश जारी कर निम्न निर्देश प्रदान किए।
  1. आपदा राहत से सम्बन्धित विभाग जैसे सार्वजनिक निर्माण विभाग, जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग, चिकित्सा, पुलिस, नगर परिषद, पंचायत आदि की बैठक कर आवश्यक निर्देश जारी करें एवं विभागीय अधिकारियों को मुख्यालय पर उपस्थित रहने के लिए पाबन्द करें।
  2. विकास अधिकारी गंगापुर सिटी, सार्वजनिक निर्माण विभाग, जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग, विद्युत विभाग, नगर परिषद एवं तहसीलदार अपने कार्यालय में नियंत्रण कक्ष 24 घण्टे राउन्ड द क्लॉक स्थापित करें।
  3. नियंत्रण कक्ष में राहत एवं बचाव हेतु आवश्यक उपकरणों एवं साजो सामान (रस्सा, ट्यूब, टॉर्च, लाठी एवं अन्य सामग्री) रखवाया जाना सुनिश्चित करें।
  4. अपने क्षेत्र के तैराकों की सूची अपडेट करें। उनसे सम्पर्क करके आपदा की स्थिति में तैयार रहने हेतु निर्देशित करें।
  5. मुख्यालय सहित प्रत्येक ग्राम पंचायत स्तर पर जेसीबी, टे्रक्टर, वाहन एवं अन्य संसाधनो की सूची अपडेट कर तैयार रहें और आवश्यकता पडऩे पर उपस्थित होने के लिए निर्देशित करें।
  6. अपने क्षेत्र के ग्राम विकास अधिकारी/पटवारी/एएनएम/स्वास्थ्य कर्मी आदि को मुख्यालय पर रहने हेतु पांबद करें।
  7. ग्राम पंचायत मुख्यालय पर राजीव गंाधी सेवा केन्द्र पर आवश्यकतानुसार उपकरण एवं साजो-सामान रखवाया जाना सुनिश्चित करें।
  8. पानी के बहाव क्षेत्र/डूब क्षेत्र में आने वाले बस्तियों का चिह्निकरण कर सूचना प्रेषित करें।
  9. बहाव क्षेत्र/डूब क्षेत्रों में आने वाले क्षेत्रों के समीप उच्च स्थान पर आवश्यकतानुसार सरकारी भवनों को आश्रय स्थल के रूप में चिह्नित कर सूचना प्रेषित करें।
  10. तेज अंधड से विधुत संचार प्रणाली एवं दूर संचार सेवाएं बाधित हो सकती है, इसके लिए डीजी सेट की उपलब्धता का पूर्व आंकलन कर सूचीबद्व करें। उपलब्ध डीजी सेट (सरकारी/गैर सरकारी) की सूचना प्रेषित करें।
    ग्राम पंचायत एवं नगर परिषद के माध्यम से आमजन को भारी नुकसान के प्रति सावधान करने हेतु निम्नानुसार बिन्दु के संबंध में प्रचार-प्रसार कराएं-
  11. आगामी मौसम के मद्देनजर किसानों को सलाह दी जाती है कि फसल कटकर तैयार हो चुकी है या खलिहान में अभी भी रखी है तो उसे सुरक्षित स्थान पर भण्डारण करें।
  12. कृषि मण्डियों में खुले आसमान में रखे हुए अनाज को ढककर सुरक्षित स्थान पर रखे ताकि उन्हें भीगने से बचाया जा सके।
  13. खेतों पर सौलर सिस्टम को भी अचानक तेज हवाओं से नुकसान हो सकता है। अत: सुरक्षित स्थान पर रखें।
  14. यदि आसपास मेघ गर्जन की आवाज सुनाई दे अथवा बिजली चमकती हुई दिखाई दे, तो पेड के नीचे शरण न लेवे एवं तेज अंधड के समय पेड़ों के नीचे व कच्चे मकानों में शरण लेने से बचें। इसे तुरन्त प्रभाव से प्रसारित किया जाए।
  15. तेज अंधड से बिजली के तारों के टूटने एवं खम्भों के गिरने से क्षति होने की संभावना है। अत: बिजली के खम्भों से दूर रहें।
  16. तेज अंधड के समय दृश्यता कम होने से यातायात व्यवस्था प्रभावित हो सकती है, वाहन चालक विशेष सावधानी बरतें।