सवाई माधोपुर की आटूण कलां, पचीपल्या एवं रामडी तथा बामनवास पंचायत समिति की ग्राम पंचायतों में धारा 144 लागू

सवाई माधोपुर। राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा घोषित कार्यक्रम अनुसार पंचायती राज संस्थाओं के चुनाव शांतिपूर्वक स्वतन्त्र एवं निष्पक्ष ढंग से सम्पन्न करवाने के लिये जरूरी है कि मतदाता बिना किसी आतंक व भय के अपने संवैधानिक मताधिकार का प्रयोग कर सके। यह सुनिश्चित करने के लिये जिला मजिस्ट्रेट ने भारतीय दण्ड़ प्रक्रिया संहिता, 1973 की धारा 144 में दी गई शक्तियों का प्रयोग करते हुये पंचायत समिति सवाई माधोपुर की आटूणकलां, रामडी और पचीपल्या ग्राम पंचायतों और सम्पूर्ण बामनवास पंचायत समिति क्षेत्र में निषेधाज्ञा लागू कर दी है। यह आदेश शहरी क्षेत्र में लागू नहीं होगा।
जारी निषेधाज्ञा के अनुसार सम्बंधित क्षेत्र में कोई भी व्यक्ति किसी भी प्रकार का विस्फोटक पदार्थ, रसायनिक पदार्थ, आग्नेय अस्त्र-शस्त्र जैसे  रिवाल्वर, पिस्टल, बंदूक, एम.एल.गन, बी.एल.गन. , अन्य हथियार जैसे गण्डासा, फर्सी, तलवार, भाला, कृपाण, चाकू, छुरी, बर्छी, गुप्ती, कटार, धारिया, बाघनख जो किसी धातु के शस्त्र के रूप में बना हो आदि तथा विधि द्वारा प्रतिबंधित हथियार और मोटे घातक हथियार-लाठी आदि सार्वजनिक स्थानों पर धारण कर न तो घूमेगा और न ही प्रदर्शन करेगा।
यह आदेश ड्यूटी पर तैनात सीमा सुरक्षा बल, राजस्थान सशस्त्र पुलिस बल, राजस्थान सिविल पुलिस, चुनाव ड्यूटी में तैनात अर्द्धसैनिक बल, होमगार्ड एवं चुनाव ड्यूटी में मतदान दलों में तैनात अधिकारियों, कर्मचारियों पर लागू नहीं होगा। सिक्ख समुदाय के व्यक्तियो को धार्मिक परम्परा के अनुसार निर्धारित कृपाण रखने की छूट होगी। यह आदेश शस्त्र अनुज्ञापत्र नवीनीकरण हेतु आदेशानुसार शस्त्र निरीक्षण करवाने अथवा शस्त्र पुलिस थाना में जमा कराने हेतु ले जाने पर लागू नहीं होगा। दिव्यांग, बीमार एवं वृद्ध व्यक्ति जो बिना लाठी के सहारे नहीं चल सकते है। लाठी/बैशाखी का उपयोग चलने में सहारा लेने हेतु कर सकेंगे।
जिले से बाहर का कोई भी व्यक्ति सवाई माधोपुर जिले की सीमा में उपरोक्त तरह के हथियारों को अपने साथ नहीं लायेगा, न ही सार्वजनिक स्थानों पर प्रयोग या प्रदर्शन करेगा। कोई भी व्यक्ति संबंधित उपखण्ड मजिस्ट्रेट की स्वीकृति के बिना किसी भी सार्वजनिक स्थल पर कोई भी जुलूस, सभा, धरना, भाषण आदि का आयोजन नहीं करेगा एवं न ही संबंधित उपखण्ड मजिस्ट्रेट की पूर्व अनुमति के बिना ध्वनि प्रसारण यंत्र का प्रयोग नहीं किया जावेगा। कोई ऐसा आयोजन नहीं होगा जिससे यातायात व्यवस्था, जन व्यवस्था एवं जनशांति विक्षुब्ध हो। कोई भी व्यक्ति सांप्रदायिक सद्भावना को ठेस पहुंचाने वाले तथा उत्तेजनात्मक नारे नहीं लगायेगा, न ही ऐसा कोई भाषण और उद्बोधन देगा, न ही ऐसे किसी पैम्फलेट, पोस्टर या अन्य प्रकार की चुनाव सामग्री छापेगा या छपवायेगा, वितरण करेगा या करवायेगा और न ही किसी एम्प्लीफायर, रेडियो, टेप रिकॉर्डर, लाउडस्पीकर, ऑडियो-वीडियो कैसेट या अन्य किसी इलैक्ट्रानिक उपकरणों के माध्यम से इस प्रकार का प्रचार-प्रसार करेगा अथवा करवायेगा। ऐसे कृत्यों के लिए न ही किसी को दुष्प्रेरित करेगा।
जिला मजिस्ट्रेट ने बताया कि कोई भी व्यक्ति या संस्था इन्टरनेट तथा सोशल मीडिया यथा फेसबुक, वाट्सएप, यूटयूब  आदि के आध्यम से किसी प्रकार का धार्मिक उन्माद, जातिगत द्वेष या दुष्प्रचार नहीं करेगा। कोई भी व्यक्ति किसी के समर्थन या विरोध में सार्वजनिक एवं राजकीय सम्पत्तियों पर किसी तरह का नारा – लेखन या प्रतीक चित्रण नहीं करेगा, न ही करवायेगा, न ही किसी तरह के पोस्टर, होर्डिंग आदि लगाएगा, न ही सार्वजनिक सम्पत्तियों का विरूपण करेगा। कोई भी व्यक्ति किसी भी सार्वजनिक स्थान पर मदिरा का सेवन नहीं करेगा, न ही अन्य किसी को सेवन करवायेगा अथवा न ही मदिरा सेवन हेतु दुष्प्रेरित करेगा तथा अधिकृत विक्रेताओं के अलावा कोई भी व्यक्ति निजी उपयोग के अलावा अन्य उपयोग हेतु सार्वजनिक स्थलों में मदिरा लेकर आवागमन नहीं करेगा और न ही इस हेतु किसी को दुष्प्रेरित करेगा। सूखा दिवस पर मदिरा विक्रय पूर्णतः प्रतिबंधित रहेगा। कोई भी व्यक्ति चुनाव प्रचार या प्रसार हेतु वाहनों से यातायात बाधित नहीं करेगा/ना ही करवायेगा। मंदिरों, मस्जिदो, गुरूद्वारों, गिरिजाघरों या अन्य धार्मिक स्थानों का निर्वाचन प्रचार मंच के रूप में प्रयोग नहीं किया जावेगा। कोई भी व्यक्ति मतदान दिवस के दिन मतदान केन्द्र से एवं मतगणना दिवस पर मतगणना केन्द्र से दो सौ मीटर की परिधि के अंदर किसी भी तरह के मोबाइल फोन, सैल फोन, वायरलैस का उपयोग नहीं करेगा, न ही लेकर चलेगा। यह प्रतिबंध चुनाव ड्यूटी में लगे पुलिस अधिकारियो/कर्मचारियों पर लागू नहीं होगा। यह आदेश आगामी 30 सितम्बर तक प्रभावी रहेगा।