श्री सिद्धिविनायक गणपति मंदिर: मुंबई का शुभ आरंभ, श्रद्धा और सिद्धि का प्रतीक

गर्भगृह में विराजमान दाहिने सूंड वाले गणपति बप्पा की मूर्ति
मुंबई के प्रभादेवी में स्थित श्री सिद्धिविनायक गणपति मंदिर भगवान गणेश को समर्पित है। यह मंदिर संकल्प सिद्धि, दाहिने सूंड वाली मूर्ति और मुंबई की सांस्कृतिक पहचान का प्रतीक है।

Siddhivinayak Temple Mumbai महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई के प्रभादेवी क्षेत्र में स्थित श्री सिद्धिविनायक गणपति मंदिर भगवान गणेश को समर्पित एक अत्यंत प्रसिद्ध और पूजनीय स्थल है। यह मंदिर न केवल मुंबई का सबसे लोकप्रिय गणेश मंदिर है, बल्कि देशभर के श्रद्धालुओं के लिए सिद्धि और शुभारंभ का प्रतीक भी है।

सिद्धिविनायक की पूजा का मुख्य कारण भगवान गणेश की विघ्नहर्ता शक्ति, सिद्धि प्रदान करने की क्षमता, और दाहिने सूंड वाली दुर्लभ मूर्ति है। मान्यता है कि यहाँ की मूर्ति विशेष रूप से संकल्प सिद्धि के लिए प्रसिद्ध है — लोग यहाँ आकर अपने कार्यों की सफलता की कामना करते हैं।

Siddhivinayak Temple Mumbai

मंदिर का निर्माण 19 नवंबर 1801 को लक्ष्मण विठु और देउबाई पाटिल द्वारा कराया गया था। देउबाई स्वयं संतानहीन थीं और उन्होंने यह मंदिर उन महिलाओं के लिए बनवाया था जो संतान प्राप्ति की कामना करती थीं। मंदिर की मूर्ति काले पत्थर से बनी है और एक ही शिला से तराशी गई है। गणेश जी की सूंड दाहिनी ओर मुड़ी हुई है — जो अत्यंत शुभ मानी जाती है।

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मंदिर की वास्तुकला आधुनिक और पारंपरिक शैली का मिश्रण है — गर्भगृह का छत सोने से मढ़ा हुआ है, और प्रवेश द्वार पर अष्टविनायक की नक्काशी की गई है। मंदिर के चारों ओर हनुमान जी का मंदिर, आरती मंडप, और प्रसाद वितरण केंद्र भी स्थित हैं।

Siddhivinayak Temple Mumbai

यह मंदिर न केवल धार्मिक स्थल है, बल्कि यह मुंबई की सांस्कृतिक आत्मा, मराठी परंपरा, और सामाजिक एकता का प्रतीक भी है। यहाँ प्रतिदिन हजारों श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं, विशेषकर मंगलवार, गणेश चतुर्थी, और नववर्ष के अवसर पर।