मुख्यमंत्री वसुंधरा नहीं तो कौन …?


JAIPUR. राजस्थान की राजनीति की बात करें तो विधानसभा चुनाव परिणाम के बाद भाजपा बहुमत में है और अभी तक सीएम चेहरा घोषित नहीं है। तमाम अटकल, कयासों के बावजूद कहीं न कहीं एक वर्ग वसुंधरा राजे के पक्ष में है तो कहीं बालकनाथ आदि अन्य कई नामों पर खुसुर फुसर है।

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इन सबके बीच यदि वसुंधरा राजे सीएम नहीं बनीं तो समीकरण क्या होंगे। संभावना है कि उन्हें विधानसभा अध्यक्ष बना दिया जाए ताकि ब्यूरोक्रेसी पर पकड़ रहे या केंद्र जो भी फ़ैसला करेगा, वे उसके साथ रहेंगी। राजनीतिक विश्लेषकों का कहना यह भी है कि लोकसभा चुनाव में उनके बेटे दुष्यंत सिंह चुनाव लड़ें तो कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी। वसुंधरा स्वयं केंद्र में नहीं जाना चाहतीं।
बड़ा सवाल ये है कि भाजपा का राष्ट्रीय नेतृत्व देशभर में नारी शक्ति वंदन क़ानून बनाकर महिलाओं को आरक्षण दे रहा है और देश की राजनीति में बदलाव की बातें करता है। दूसरी ओर वही सबसे प्रभावशाली नेता को दरकिनार कर रहा है जो समझ से परे है।