कोरोना के बाद पहली बार खुले सरकारी स्कूल

इंदौर। कोविड संक्रमण के बाद शनिवार को इंदौर जिले के सरकारी स्कूलों में विद्यार्थियों की कक्षाएं लगी। कक्षा 10वीं व 12वीं के विद्यार्थी अपने पालकों का सहमति पत्र लेकर स्कूल पहुंचे। कोविड संक्रमण के कारण इस बार जुलाई में स्कूल शुरू नहीं हो सके थे, ऐसे में सरकारी स्कूलों के विद्यार्थियों की ऑनलाइन कक्षाएं ही संचालित हो रही थीं। इंदौर जिले के 164 सरकारी हाईस्कूल व हाई सेकंडरी स्कूल में करीब 19 हजार 500 विद्यार्थी अध्ययनरत हैं। स्कूल शिक्षा विभाग के अतिरिक्त जिला परियोजना समन्वयक नरेन्द्र जैन के मुताबिक शनिवार को स्कूलों में करीब साढ़े सात हजार विद्यार्थी पहुंचे। स्कूल परिसर की कक्षाओं में विद्यार्थियों को शारीरिक दूरी के आधार पर बैठाने के लिए ज्यादा कमरों का इस्तेमाल किया जा रहा है। स्कूलों में सैनिटाइजेशन व मास्क का इंतजाम किया जा रहा है। सोमवार से स्कूलों में बच्चों की संख्या बढ़ने की संभावना जताई जा रही है। अभी सिर्फ कक्षा 10वीं व 12वीं के छात्रों को बुलाया जा रहा है। सरकारी स्कूलों के प्राचार्य अपने स्तर पर कक्षा 9वीं व 11वीं के छात्रों को स्कूल बुलाने का निर्णय आने वाले दिनों में लेंगे। शासकीय उत्कृष्ट बाल विनय मंदिर स्कूल में 10वीं-12वीं की कक्षा में 30 कमरों में 15-15 छात्र बैठाने की व्यवस्था की गई, लेकिन स्कूल खुलने का पहला दिन होने के कारणों की छात्रों की उपस्थिति कम रही और यहां सिर्फ छह कमरों में छात्रों को बैठाया। संयोगितागंज कन्या हायर सेकंडरी स्कूल के प्राचार्य आरके चेलानी के मुताबिक हमारे स्कूल में जगह है। इस वजह से हमने 9वीं से 12वीं तक सभी विद्यार्थियों को बुलाया है। शनिवार को लगभग 55 विद्यार्थी आए।